Monday, 24 November 2025

सफलता - दीपा शेखर झा "दिवा"

सफलता - दीपा शेखर झा "दिवा"

मेहनती मुसाफिर संघर्षों से नहीं डरता है
अपने मंजिल की खोज में चल पड़ता है।

सफलता आसानी से कहाँ  मिलता है।
सदा कठिन राह ही वह तय  करता है।

उठकर गिरता गिरकर मुसाफिर उठता है 
अपने हौसलों को सदा ही बुलंद रखता है।

मार्ग से ना भटका तो पूरी होगी आस
रब देगा साथ मन में रखता है विश्वास।

हर गलती से उसको सीख बहुत मिलता है
 फिर धीरे - धीरे सफलता की सीढ़ी चढ़ता है।

और असफलता को पीछे छोड़कर वह
सफलता के साथ आगे बढ़ता जाता है।

सफलता पाकर वह इतिहास रचता है
संसार में मुसाफिर का नाम गूंजता है।

उसका जीवन रौशनी से जगमगाता है 
 अपने भविष्य को  प्रकाशित करता है।

       दीपा शेखर झा "दिवा"
             दिल्ली 

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