Sunday, 21 December 2025

वंदेमातरम् - अपर्णा गर्ग 'शिव'


 राष्ट्रीय हिन्दी साहित्य प्रतियोगिता मंच 

' हमारी वाणी' शीर्षक: वंदेमातरम् - अपर्णा गर्ग 'शिव'

वंदेमातरम् , वंदेमातरम् 
वंदेमातरम् , वंदे…
गूंज उठा नभ से पाताल
वंदेमातरम् …

गीत नहीं अंतस ज्वाला थी
जगा दिया जिसने हिन्दुस्तान
आजादी की लहर चल पड़ी
नहीं झुकेगा तेरा उज्ज्वल मान।।
वंदेमातरम्… 

खेत, खलिहान, नगर, चौबारों में
एक ही स्वर में जयकार उठा
तोड़ दो सब जुल्मों की जंजीरें
डिगा सकेगा ना कोई संकल्प महान
वंदेमातरम् …

लाठी, गोली, फांसी भी,अब
रोक न पाएगी हुंकारों को
चल पड़ी मतवालों की टोली
चहुं ओर गूंज रहा मंगल गान।।
वंदेमातरम्… 

जो शहीद हुए, वो अमर हो गए
मचल उठे सबके दिल में अरमान
वंदेमातरम् की गूंज बन गई
भारत माता की अमिट पहचान।।
वंदेमातरम् …

जब तक सूरज चांद रहेगा
तब तक गूंजेगी हर श्वास
आजाद हिंद के हम सेनानी
हर हाथ तिरंगा, अपनी शान।।
वंदेमातरम् …

         अपर्णा गर्ग 'शिव'
उत्तर प्रदेश 

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